सावन का पहला सोमवार 2025: शिव भक्तों के लिए विशेष फलदायी, जानें पूजा विधि और शुभ मुहूर्त

By Shravan Kumar Oad

Published on:

First Sawan Monday 2025 Shiv Puja celebration with devotees performing Rudrabhishek and following Sawan Somwar rituals

14 जुलाई 2025, को मनाया जाने वाला सावन का पहला सोमवार (First Sawan Somwar) शिवभक्तों के लिए अत्यंत शुभ और फलदायी माना गया है। शिव महापुराण एवं धार्मिक ग्रंथों के अनुसार सावन मास में आने वाले प्रत्येक सोमवार का अत्यंत महत्व है, और खासतौर पर पहला सोमवार शिवभक्ति की शुरुआत के रूप में देखा जाता है।

क्यों है पहला सावन सोमवार खास?

  1. आध्यात्मिक आरंभ:
    मान्यता है कि माता पार्वती ने भगवान शिव को पाने के लिए सावन के सोमवार व्रत की शुरुआत इसी दिन से की थी। इसलिए यह दिन शिव-पार्वती विवाह की पवित्र स्मृति को भी समर्पित है।
  2. Mantra Power और Spiritual Cleansing:
    इस दिन “Om Namah Shivaya” और “Mahamrityunjaya Mantra” का जाप करने से मन और आत्मा दोनों की शुद्धि होती है। भक्तों को अपने जीवन में शांति, समाधान और सकारात्मक ऊर्जा का अनुभव होता है।
  3. Fruitful for Devotees:
    कहा जाता है कि इस दिन सच्चे मन से की गई पूजा से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। विवाह में विलंब, नौकरी में रुकावट या मानसिक तनाव जैसी बाधाएं दूर होती हैं।

सावन मास की अवधि और पहले सोमवार की तिथि

  • सावन प्रारंभ: 11 जुलाई 2025 (शुक्रवार)
  • पहला सोमवार व्रत: 14 जुलाई 2025
  • सावन समाप्ति: 9 अगस्त 2025 (शनिवार)

इस बार कुल चार सोमवार आएंगे, जिनमें पहला सबसे अधिक शुभ फल देने वाला माना गया है।

शुभ मुहूर्त (Auspicious Timings for Puja)

  • ब्रह्म मुहूर्त: प्रातः 4:11 बजे से 4:52 बजे तक
  • अभिजीत मुहूर्त: दोपहर 11:59 बजे से 12:55 बजे तक
  • विजय मुहूर्त: दोपहर 2:45 बजे से 3:40 बजे तक
  • गोधूलि व प्रदोष काल: संध्या 7:15 बजे से 8:45 बजे तक

इन सभी मुहूर्तों में से जो आपके लिए अनुकूल हो, उसमें पूजा करना अत्यंत लाभकारी रहेगा।

पूजा विधि (Puja Vidhi)

  1. प्रातः काल स्नान कर शुद्ध वस्त्र धारण करें।
  2. घर या मंदिर में भगवान शिव का ध्यान कर पूजा आरंभ करें।
  3. सबसे पहले शिवलिंग पर गंगाजल से अभिषेक करें।
  4. उसके बाद पंचामृत (दूध, दही, घी, शहद, गन्ना रस) से अभिषेक करें।
  5. शिवलिंग पर बेलपत्र, धतूरा, सफेद पुष्प, चावल, चंदन, तिल और भांग अर्पण करें।
  6. भगवान शिव को सफेद मिष्ठान्न जैसे मखाने की खीर या फल अर्पित करें।
  7. 108 बार “ॐ नमः शिवाय” का जाप करें।
  8. अंत में शिव चालीसा का पाठ करें और आरती के साथ पूजा संपन्न करें।

Do’s और Don’ts

करें (Do’s):

  • उपवास रखें और व्रत नियमों का पालन करें।
  • सात्विक आहार लें (फल, खीर, साबूदाना, सेंधा नमक से बनी वस्तुएँ)।
  • संकल्प लें कि आप व्रत को पूरी श्रद्धा और नियम से निभाएंगे।

न करें (Don’ts):

  • पूजा में तुलसी, हल्दी या सिंदूर का प्रयोग न करें।
  • मांसाहार, लहसुन-प्याज़ और नशे से दूर रहें।
  • किसी को अपशब्द या कटु वाणी न बोलें, दिन भर संयम रखें।

सावन सोमवार व्रत के लाभ (Benefits of Sawan Somwar Vrat)

  • मानसिक शांति: शिवलिंग पर जलाभिषेक करने से चित्त शांत होता है और आत्मबल बढ़ता है।
  • संपत्ति व संबंधों में सुधार: वैवाहिक जीवन में मधुरता आती है और पारिवारिक संबंध मजबूत होते हैं।
  • कर्मों का शुद्धिकरण: महा मृत्युंजय मंत्र के जप से जन्म-जन्मांतर के दोषों का शमन होता है।
  • Health & Spiritual Healing: आयु वृद्धि, रोगों से मुक्ति और रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है।

सावन सोमवार 2025 की सूची (Sawan Somwar Dates)

सोमवार क्रमतिथि
पहला14 जुलाई 2025
दूसरा21 जुलाई 2025
तीसरा28 जुलाई 2025
चौथा4 अगस्त 2025

निष्कर्ष

14 जुलाई 2025, को आने वाला पहला Sawan Somwar शिव भक्तों के लिए आध्यात्मिक ऊर्जा का द्वार खोलता है। यह दिन केवल पूजा-पाठ का अवसर नहीं, बल्कि आत्मिक शुद्धि, संकल्प और शिवभक्ति के पुनर्जागरण का प्रतीक है। यदि श्रद्धा और विधि से व्रत और पूजा की जाए तो यह सोमवार आपके जीवन को सकारात्मक दिशा देने वाला बन सकता है।

Leave a Comment